जेस्टेशनल डायबिटीज के कारण, लक्षण और सावधानी

आज के समय में डायबिटीज का कोई भी शिकार हो सकता है। डायबिटीज के शिकार व्यक्ति को बहुत ही परेशानी होती है, लेकिन जब भी गर्भ के दौरान डायबिटीज होती है, तो उसे हम जेस्टेशनल डायबिटीज कहते हैं। इस डायबिटीज के कारण गर्भ में पल रहे बच्चे के विकास में बाधा आने लगती है। जेस्टेशनल डायबिटीज गर्भ में पल रहे बच्चे के स्वास्थ्य के लिए बहुत ही नुकसानदायक होती है। गर्भावस्था में अगर महिला का वजन अधिक हो तो भी जेस्टेशनल डायबिटीज का खतरा बढ़ सकता है।

जेस्टेशनल डायबिटीज के लक्षण
अगर हम जेस्टेशनल डायबिटीज अर्थात गर्भवती मधुमेह के लक्षणों के बारे में बात करें, तो इसे पहचाना बहुत ही मुश्किल होता है, इसके बारे में बिना जांच करवाएं पता नहीं किया जा सकता। इसमें सबसे हैरानी की बात यह है कि इसका कोई लक्षण पनपने के बाद भी सामने नहीं आता। इसलिए हमें इसकी जांच जरूर करवानी चाहिए। क्योंकि इसका असर माँ को ही नहीं बल्कि बच्चे पर भी सीधा पड़ता है। डायबिटीज के लक्षण वैसे दिखाई नहीं देते, लेकिन जब भी कोई समस्या हो तो हमें तुरंत डॉक्टर के पास जाकर अपना चेकअप करवाना चाहिए जैसे कि :-

गर्भवती महिलाओँ को अक्सर इन लक्षणों से गुजरना पड़ता है, इसलिए हम यह भी नहीं कह सकते कि ये गर्भवती मधुमेह के लक्षण होते हैं, लेकिन हमें इस लक्षणों के बारे में डॉक्टर से सलाह अवश्य लेनी चाहिए।

जेस्टेशनल डायबिटीज के कारण

जेस्टेशनल डायबिटीज से बचाव
गर्भावस्था के दौरान डायबिटीज से बचाव रखना बहुत ही जरूरी होता है। ऐसे में हमें कुछ बातों पर ध्यान देना चाहिए जैसे कि…