पाचन शक्ति बढ़ाने के लिए योग

अपच, ऐंठन, सूजन और कब्ज आदि ये कुछ ऐसी पेट से संबंधित समस्याएं है, जिसे लगभग हर कोई अनुभव करता है। लागातर हो रही इन समस्याओं से आपका समय भी खराब होता है। आज हम आपको कुछ ऐसे योग आसनों के बारे में बातएंगे, जिसकी मदद से आप पाचन शक्ति को मजबूत बना सकते हैं।

पाचन शक्ति बढ़ाने के लिए योग

पाचन शक्ति बढ़ाने के लिए पश्चिमोत्तानासन

पश्चिमोत्तानासन पेट के लिए बहुत ही अच्छा आसन है। यह न केवल तनाव, चिंता, क्रोध, और चिड़चिड़ापन को कम करने में मददगार है बल्कि इससे पेट में जमी चर्बी भी कम होती है। यह मन को शांत करता है तथ रीढ़ की हड्डी को मजबूत और लचीलापन बनाता है। इसके अलावा पश्चिमोत्तानासन कब्ज और पाचन विकार के लिए एक उचित आहार है।

पश्चिमोत्तानासन कैसे करें

सबसे पहले जमीन पर चटाई या दरी बिछाकर लें उसके बाद पीठ की पेशियों को ढीला छोड़ दें। फिर सांस छोड़ते हुए आगे की ओर झुके। इसके बाद धीरे-धीरे करके अपने दोनों हाथों से अपने पैरों के अंगूठों को पकड़ने की कोशिश करें। ऐसा करते समय अपने हाथों और पैरों को बिल्कुल सीधा रखें। जब आप इस आसन को कर रहे होते हैं, तब आपको समान्य सांस लेनी और छोडनी होती है।

पाचन शक्ति बढ़ाने के लिए पवनमुक्तासन

पवनमुक्तासन पेट की मांसपेशियों को मजबूत करता है और पाचन तंत्र के आंतों और आंतरिक अंगों को मज़बूत करता है। इससे पाचन में सुधार होता है और गैस की समस्या से छुटकारा मिलता है। यह पीठ की मांसपेशियों को मजबूत करता है और पैरों की मांसपेशियों को टोन करता है।

पवनमुक्तासन कैसे करें

इस आसन को करने के लिए आप सबसे पहले चटाई या दरी को बिछा लें। इसके बाद सीधे होकर शवासन में लेट जाएं और सीधे लेट जाने के बाद दाएं पैर के घुटनें को अपनी छाती पर रखें। अब अपने दोनों हाथों की अंगुलियां एक-दूसरे में डालते हुए अपने घुटनों को पकड़ लें। अपने श्वास को बाहर निकालते हुए अपने घुटने को छाती से लगायें एवं सिर को उठाते हुए घुटने से नासिका को स्पर्श करवाएं। कुछ सेंकड तक अपने श्वास को बाहर रोकते हुए इसी स्थिति में बने रहें और बाद में अपने पैर को सीधा कर लें।

पाचन शक्ति बढ़ाने के लिए शवासन

शवासन को कई तरह की बीमारियों को दूर करने के लिए जाना जाता है। यह आसन न्यूरोलॉजिकल समस्या, अस्थमा, कब्ज, मधुमेह, अपच, अनिद्रा, तनाव अवसाद से पीड़ित लोगों के लिए बहुत ही अच्छा माना जाता है। यह पाचन अंगों को ऑक्सीजन बढ़ाता है। यह पाचन और उपचार के लिए आदर्श वातावरण बनाता है।

शवासन कैसे करें

सबसे पहले पीठ के बल लेटते हुए दोनों भुजाओं को शरीर के बगल में रखिए तथा हथेलियां उपर की ओर खुली रखें। पीठ के बल सीधे लेट जाने के बाद अपनें दोनों हाथों को सीधा रखें। पैरों को एक दूसरे से थोड़ा दूर कर लें और आखों को बंद कर लीजिए। इसके बाद शरीर को ढीला छोड़ दीजिए। इसके बाद श्वास को सहज होने दीजिए तथा मस्तिष्क को श्वास-प्रश्वास के प्रति जागरुक होने दीजिए।

 

पाचन शक्ति बढ़ाने के लिए मयूरासन

मयूरासन जिसे हम पीकॉक पॉज के नाम से जानते हैं। यह आपके विषाक्त पदार्थों को हटाता है। यह पाचन तंत्र के कार्य में सुधार करता है और पेट मजबूत बनाता है। पाचन शक्ति बढ़ाने के लिए आप इस आसन को कर सकते हैं। इससे ऑक्सीजन युक्त रक्त पाचन अंगों में फैलता है और उनके कार्य को बेहतर बनाता है।

मयूरासन कैसे करें

इस आसन को करने के लिए आप पहले साफ वातावरण में समतल स्थान पर दरी या चटाई को बिछा लें। फिर उस पर पेट के बल लेट जाएं। इसके बाद आप अपने दोनों पैरों के पंजो को आपस में अच्छे से मिला लें। हाथ के अंगूठे और अंगुलियां अंदर की ओर रखते हुए हथेली जमीन पर रखें। अब दोनों हाथ की कोहनियों को नाभि केन्द्र के दाएं-बाएं अच्छे से जमा लें।

हाथ के पंजे और कोहनियों के बल पर धीरे-धीरे सामने की ओर झुकते हुए शरीर को आगे झुकाने के बाद पैरों को धीरे-धीरे सीधा कर दें। ऐसा करने के बाद अपने पुरे शरीर का वजन कोहनियों के ऊपर उठाएं और अपने घुटने और पैरों को जमीन से उठा लें तथा अपने सिर को सीधा रखें।